106 हार्डकोर नक्सलियों को आत्मसमर्पण कराकर मुख्यधारा में जोड़ा, 543 से अधिक जिंदा बम बरामद

बीएसएफ ने मनाया 58 वां स्थापना दिवस

CG Prime News@भिलाई. छत्तीसगढ़ में बीएसएफ ने नक्सलियों से दो-दो हाथ कर उनके छक्के छुड़ा दिए। नक्सलियों को जब बीएसएफ जवानों के पराक्रम का अहसास हुआ। तब इधर उधर दुबकने लगे। इसके बाद बीएसएफ ने कांकेर जिले में सक्रिय 106 हार्डकोर नक्सलियों को आत्मसमर्पण कराया और उन्हें मुख्यधारा में जोड़ने अहम भूमिका निभाई है। अब तक 11 दुर्दान्त नक्सलियों को मार गिराया। 1082 नक्सलियों को गिरफ्तार किया और 543 से अधिक आईईडी (जिन्दा बम) बरामद किया। साथ ही सुरक्षा बलों एवं आम जनता को भारी नुकसान होने से बचाया है।
बीएसएफ के महानिरीक्षक इंदराज सिंह ने पत्रवार्ता में बताया कि 7 फरवरी 2013 में नक्सली समस्या से लड़ने के लिये छत्तीसगढ़ में फ्रन्टीयर मुख्यालय स्पेशल ऑपरेशन सीमा सुरक्षा बल की एक सेक्टर और 6 बटालियन की तैनाती हुई। अब यहां एक फ्रंटीयर, 2 सेक्टर और 8 बटालियन तैनात है। बीएसएफ ने छत्तीसगढ़ में अपने कठिन प्रयासो के फलस्वरूप कांकेर जिले में सक्रिय 106 हार्डकोर नक्सलियों को आत्मसमर्पण कराकर देश की मुख्यधारा से जोड़ने में अहम भूमिका निभाई है। 11 दुर्दान्त नक्सलियों को मार गिराया तथा 1082 नक्सलियों को गिरफ्तार किया। 543 से अधिक आईईडी की बरामदगी कर सुरक्षा बलों और आम जनता को भारी नुकसान होने से बचाया है। उन्होने बताया कि आज 58 वर्ष पूरे हो चुके है। बीएसएफ भारत की पूर्वी सीमा पर बांग्लादेश बॉर्डर के साथ उत्तरी पूर्वी राज्यों में काउन्टर इंसजेन्सी ऑपरेशन को भी अंजाम दे रही है तथा पश्चिमी सीमा पर अडिग एवं दृढ़ निश्चय के साथ रात दिन अपनी डयूटी कर रहे हैं।
वर्ष 2009 में कांकेर जिले में की शुरुआत
आईजी ने बताया कि वर्ष 2009 में छत्तीसगढ़ आंतरिक समस्या से जूझने के लिए सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) को कांकेर जिला में तैनात किया गया। कांकेर के अति बीहड़ो, दूरस्थ ग्रामीण और जंगली इलाके में बीएसएफ की टुकडियां कठिनाइयों से लड़ते हुए तैनात हुई। धीरे-धीरे गांव वालों का भरोसा जीतने में बीएसएफ ने कामयाबी हासिल की। फलस्वरुप लोंगो के दिल में सुरक्षा का विश्वास बढ़ा है।