डकैत गिरोह का सरगना कालाभाया गिरफ्तार, अपने क्षेत्र का है गैंगस्टर

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डकैती और चोरी के धन से बनाया है आलीशान बंगला

भिलाई. अंजोरा चौकी क्षेत्र में रसमड़ा टिंबर व्यवसायी दिलीप के घर में हुई डकैती के मामले में फरार सरगना काला भाया पकड़ा गया। दुर्ग पुलिस की चतुराई के सामने वह बौना पड़ा। उसे पता चला कि छत्तीसगढ़ पुलिस दो आरोपियों को लेकर लौट गई। जब वह चौथे दिन घर से बाहर मार्केट के लिए निकला। दुर्ग पुलिस की दूसरी टीम ने उसे टांडा मार्केट में दबोच लिया।

एसपी जितेन्द्र शुक्ला ने पत्रवार्ता में खुलासा किया। उन्होंने बताया कि गनियारी रोड रसमड़ा निवासी दिलीप मिश्रा और उनकी पत्नी को बंधक बनाकर डकैती की वारदात के मामले में भील गिरोह के सरगना कालाभाया को पकड़ने में सफलता मिली है। धार झाबुआ क्षेत्र में 22 दिनों तक कैंप बनाकर भंगू डावर (25वर्ष) और भूरसिंह को पकडा था। इस मामले का आरोपी सरगना कालाभाया समेत तीन आरोपी फरार है। टीम दोनों आरोपियों को लेकर वापस आ गई, लेकिन दूसरी टीम को वहीं पर छोड़ दिया गया। चार दिन बाद कालाभाया घर से बाहर मार्केट जाने के लिए निकला। जहां तैनात दूसरी टीम ने टांडा मार्केट में उसे दबोच लिया। इस मामले में फरार अन्य आरोपियों की तलाश जारी है।

गैंगस्टर है कालाभाया, खौफ इतना की नाम बताने से डरते है लोग

क्राइम डीएसपी हेमप्रकाश नायक ने बताया कि वर्ष 2014-15 में कालाभाया छत्तीसगढ़ के कटघोड़ा जेल में बंद था। पेशी के दौरान भाग गया था। फिर उसे गिरफ्तार कर बिलासपुर जेल में रखा गया। सजा काटने के बाद वह वर्ष 2019 से बाहर है। तभी से घूम-घूमकर डकैती, लूट और चोरी जैसे अपराध को अंजाम दे रहा है। उसने अपने गांव में ऐसा खौफ बनाया है कि उसका नाम बताने से लोग डरते है। कालाभाया कई राज्यों में डकैती की वारदात को अंजाम दे चुका है। चोरी, लूट और डकैती उसका पेशा है। इसी कारोबार से वह आलीशान बंगला बनाया है। उसके पास कई लग्जरी गाडिय़ा है। कई राज्यों की पुलिस उसे खोज रही थी। जैसे ही पुलिस वहां पर किसी को गिरफ्तार करती है तो महिलाएं सामने आ जाती है। पुलिस को पीछे हटना पड़ता है।