@Dakshi sahu Rao
CG Prime News@रायपुर. छत्तीसगढ़ में बहुचर्चित कोयला घोटाला केस में पूर्व सीएम की डिप्टी सेक्रेटरी निलंबित अधिकारी सौम्या चौरसिया को को जमानत नहीं मिली। गुरुवार को स्पेशल कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया। कोर्ट ने कहा कि केस डायरी के अध्ययन से अपराध में अभियुक्ता की प्रथम दृष्टया संलिप्तता दिख रही है। इसी तर्क के आधार पर कोर्ट ने आवेदन खारिज किया। कोर्ट में सुनवाई के दौरान बचाव पक्ष ने निलंबित अफसर की बेटी की बीमारी का भी हवाला दिया। वकील ने बताया कि सौम्या की चार साल की बेटी है। उसकी मेडिकल रिपोर्ट भी पेश की गई थी।
वकील ने यह भी दलील दी
बचाव पक्ष के वकील ने पिछले दिनों एक युवक द्वारा जम्मू-कश्मीर में खुद को प्रधानमंत्री का करीबी बताकर घूमने के मामले का उदाहरण देते हुए कहा कि “मामले में प्रधानमंत्री के पद का दुरुपयोग करने वाले को गिरफ्तार किया गया न कि प्रधानमंत्री को। बचाव पक्ष के वकील हर्षवर्धन परघनिया और फैजल रिजवी ने सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट की कई केस स्टडी का उदाहरण देकर जमानत का अनुरोध किया। सुनवाई में एसीबी की ओर से डॉ. सौरभ कुमार पांडेय ने पैरवी की।
हुई लंबी बहस
स्पेशल क ोर्ट में सौम्या की जमानत याचिका पर दोनों पक्षों के वकीलों के बीच लंबी बहस हुई। कोर्ट में सुनवाई के दौरान बचाव पक्ष ने निलंबित अफसर की बेटी की बीमारी का भी हवाला दिया। देखभाल नहीं होने से उसकी तबीयत खराब रहती है। वकील ने ये दलील भी दी कि ईडी के ईसीआईआर और ईओडब्ल्यू की एफआईआर में कहीं भी पद के दुरुपयोग करने का सबूत नहीं मिला है। इसलिए सौम्या चौरसिया को जमानत मिलनी चाहिए।




