CG Prime News@रायपुर. Chhattisgarh Bharatmala project scam: EOW names 10 people as accused छत्तीसगढ़ भारतमाला परियोजना घोटाला मामले में बड़ी खबर सामने आई है। इस घोटाले को लेकर EOW ने रायपुर की स्पेशल कोर्ट में चालान पेश कर दिया है। EOW ने 43 करोड़ के भूमि अधिग्रहण घोटाले में 10 लोगों को आरोपी बनाया है। इन 10 आरोपियों ने जमीन को टुकड़ों में बांटकर एनएचएआई को 78 करोड़ का भुगतान दिखाया।
इन लोगों को बनाया आरोपी
छत्तीसगढ़ भारतमाला परियोजना घोटाला मामले में EOW ने सोमवार को रायपुर की स्पेशल कोर्ट में 12 बंडलों में 7,600 पन्नों का चालान पेश किया। ईओडब्ल्यू ने हरमीत सिंह खनूजा, उमा तिवारी, केदार तिवारी, विजय जैन, कुंदन बघेल, भोजराज साहू, खेमराज कोसले, पुन्नूराम देशलहरे, गोपाल वर्मा, नरेंद्र नायक के खिलाफ चालान पेश किया है। वहीं एसडीएम, पटवारी और भू-माफिया के सिंडिकेट ने बैक डेट पर दस्तावेज बनाकर घोटाले को अंजाम दिया।
फर्जी दस्तावेज से दिया घोटाले को अंजाम
EOW ने तकनीकी दस्तावेज, मोबाइल चैट्स, बैंक ट्रांजेक्शन और कई गवाहों के बयान को चालान का हिस्सा बनाया है। ईओडब्ल्यू अब अन्य संदिग्धों की भूमिका की भी जांच कर रही है। अधिकारियों और ठेकेदारों के बीच संदिग्ध लेनदेन, फर्जी दस्तावेजों में बड़े पैमाने पर घोटाले के प्रमाण मिले हैं।
अधिकारियों के ठिकाने पर हुई थी छापेमारी
बता दें कि, 25 अप्रैल को ईओडब्ल्यू ने छत्तीसगढ़ के 17 से 20 अधिकारियों के ठिकाने पर छापेमार कार्रवाई की थी। इनमें एसडीएम, तहसीलदार, पटवारी और राजस्व निरीक्षक समेत राजस्व विभाग के कई अधिकारी शामिल हैं। इनके ठिकानों पर जांच कर दस्तावेजों को जब्त किया गया था। ईओडब्ल्यू ने रायपुर, महासमुंद, दुर्ग और बिलासपुर में छापा मारा था। इसमें निर्भय कुमार साहू, जितेन्द्र कुमार साहू, दिनेश पटेल, योगेश कुमार देवांगन, शशिकांत कुर्रे, लेखराम देवांगन, लखेश्वर प्रसाद किरण, बसंती धृतलहरे, रोशन लाल वर्मा, हरमीत सिंह खनूजा, उमा तिवारी, विजय जैन, दशमेश इन्ट्रावेंचर प्रा. लि., हृदय लाल गिलहरे और विनय कुमार गांधी के ठिकाने शामिल हैं।
क्या है भारत माला परियोजना
भारतमाला परियोजना एक राष्ट्रीय राजमार्ग विकास परियोजना हैं, जो भारत सरकार की है। इसके तहत नए राजमार्ग के अलावा उन परियोजनाओं को भी पूरा किया जाएगा जो अब तक अधूरे हैं। इसी के तहत रायपुर से विशाखापट्टनम तक करीब 463 किमी लंबी नई फोरलेन सड़क बनाई जा रही है। भारत माला प्रोजेक्ट में जमीन अधिग्रहण मामले में 43 करोड़ का घोटाला हुआ है। जमीन को टुकड़ों में बांटकर NHAI को 78 करोड़ का भुगतान दिखाया गया। SDM, पटवारी और भू-माफिया के सिंडिकेट ने बैक डेट पर दस्तावेज बनाकर घोटाले को अंजाम दिया।




