CG Prime News@भिलाई. छत्तीसगढ़ की आर्थिक अपराधों की फेहरिस्त में एक और बड़ा खुलासा सामने आया है। फर्जी तरीके से यस बैंक (yes bank) में निजी खाता खोलकर 265 करोड़ रुपए के संदिग्ध लेनदेन के मामले में फरार चल रहे आरोपी अनिमेष सिंह ने आखिरकार कोर्ट में आत्मसमर्पण कर दिया। पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए उसे गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया, जहां से उसे न्यायिक रिमांड पर जेल भेज दिया गया।
सीबीआई जांच की मांग
इस मामले को लेकर याचिकाकर्ता प्रभुनाथ मिश्रा ने सीबीआई CBI जांच की मांग की है। उनका दावा है कि इस खाते से हवाला नेटवर्क के माध्यम से करोड़ों रुपए का लेनदेन हुआ है और इसकी कडिय़ां महादेव सट्टा कांड से भी जुड़ सकती हैं। राज्य सरकार समय पर निष्पक्ष जांच कर ठोस कार्यवाही नहीं करती, तो न्यायालय सीबीआई जांच का विकल्प खुले रखने के संकेत पहले ही दे चुका है।
आरोपी के खिलाफ जारी था स्थाई वारंट
एएसपी और पुलिस प्रवक्ता पद्मश्री तवर ने बताया कि इस मामले में खुर्सीपार टीआई अंबर भरद्वाज द्वारा जांच की जा रही थी। अनिमेष सिंह के खिलाफ दो प्रकरणों में उच्च न्यायालय द्वारा गिरफ्तारी का आदेश जारी किया गया था। एक मामला सिविल ठेकेदार हितेश चौबे की शिकायत पर दर्ज अपराध क्रमांक 24/2020 का है, जिसमें अनिमेष फरार था। दूसरा मामला प्रतीक चोपड़ा की शिकायत पर दर्ज है। इसके अलावा आरोपी पर तीन चेक बाउंस के मामलों में स्थाई वारंट भी जारी था।
डीजीपी से हाई कोर्ट ने मांगा था शपथ पत्र
उच्च न्यायालय ने जनवरी में इस मामले की गंभीरता को देखते हुए डीजीपी DGP से व्यक्तिगत शपथ पत्र लेकर विस्तृत जानकारी मांगी थी। कोर्ट ने राज्य सरकार को निर्देश दिए हैं कि 21 अप्रैल 2025 तक दोबारा जांच कर समस्त जानकारी प्रस्तुत करें। यस बैंक को भी पक्षकार बनाते हुए उसके अधिवक्ता से अनिमेष सिंह के खाते से हुए समस्त लेनदेन की जानकारी मांगी गई है।




