हेमचंद विश्वविद्यालय से संबद्धता खत्म कर सीएसवीटीयू पहुंचे दो कॉलेज, आखिर ऐसा क्या हुआ?

भिलाई . छत्तीसगढ़ स्वामी विवेकानंद तकनीकी विश्वविद्यालय इस साल  से पहली बार बीबीए और बीसीए पाठ्यक्रमों की परीक्षा भी कराएगा। ऐसा इसलिए होगा, क्योंकि भिलाई-दुर्ग के दो कॉलेजों ने बीबीए और बीसीए कोर्स की हेमचंद यादव विश्वविद्यालय से संबद्धता खत्म कर एफीलेशन सीएसीवीटीयू से ले लिया है।

पहली बार यह भी है कि सीएसवीटीयू ने सामान्य डिग्री कॉलेजों में संचालित कोर्स को संबद्धता दी है। अब इन कॉलेजों में बीबीए-बीसीए की पढ़ाई और परीक्षा सीएसवीटीयू के जिम्मे होगी। बीबीए और बीसीए कोर्स प्रोफेशनल कोर्से की श्रेणी में शामिल कर लिया गया है। जिससे यह कोर्स करने वाले छात्रों को डिग्री को ग्लोबल पहचान मिलेगी। बताया जा रहा है कि अगले साल तक हेमचंद विश्वविद्यालय से संबद्ध कई सारे कॉलेज बीबीए और बीसीए कोर्से की संबद्धता के लिए सीएसवीटीयू में स्विच कर जाएंगे। बता दें कि सीएसवीटीयू अभी तक इंजीनियरिंग, पॉलीटेक्निक, फार्मेसी, एमबीए और एमसीए कोर्से को संबद्धता देता है। अब सीएसवीटीयू में बीबीए और बीसीए से नए अध्याय की शुरुआत होने जा रही है।

एआईसीटीई से होगी मान्यता

एआईसीटीई ने इन कोर्स का दायरा बदलने के साथ ही मान्यता को लेकर भी कड़े नियम तय किए हैं। इन कोर्स के लिए फैकल्टी से लेकर प्रयोगशाला तक सबकुछ एआईसीटीई के नियम से रखने को कहा गया है। यह पहली बार है जब बीबीए और बीसीए को भी एआईसीटीई अप्रूवल देगा। बीबीए और बीसीए का अप्रूवल देने के लिए दो कैटेगरी तय की गई थी। पहली ऐसे टेक्निकल कॉलेज जो पहले से ही यूजी कोर्स यूनिवर्सिटी से संबद्धता लेकर संचालित कर रहे हैं, वे विश्वविद्यालय बदल सकते हैं। वहीं ऐसे नए कॉलेज जो अब संस्थान में बीबीए या बीसीए चलाएंगे उनको टेक्निकल यूनिवर्सिटी ही संबद्धता जारी करेगा।

एआईसीटीई से बढ़ेंगे मौके
बीबीए और बीसीए की डिग्री अभी तक सिर्फ संबधित विश्वविद्यालय से ही संबद्ध हुआ करती थी, जिसकी वजह से इसका वेटेज महानगरों और विदेश में कम हो जाया करता था। हालांकि यह समस्या सिर्फ टीयर-२ व टीयर-३ सिटीज के विद्यार्थियों के साथ होती थी। अब एआईसीटीई से मान्यता के बाद इस डिग्री की वैल्यू ग्लोबल लेवल पर बढ़ जाएगी। देश-विदेश में कहीं भी जरूरत पडऩे पर एआईसीटीई का बैनर बड़े मौके दिलाएगा।

क्यों पड़ रही जरूरत
प्रबंधन और कंप्यूटर एप्लीकेशन जैसे कोर्स को हमेशा से ही एआईसीटीई के दायरे में रखा गया है, क्योंकि इन्हें प्रोफेशनल कोर्स कहा जाता है। बीबीए और बीसीए भी मैनेजमेंट, कंप्यूटर से जुड़े कोर्स हैं। ऐसे में इनको भी एआईसीटीई के दायरे में रखने का निर्णय लिया गया। इसके पीछे एआईसीटीई का मकसद इन कोर्स के विद्यार्थियों को बेहतर गुणवत्ता शिक्षा से जोडऩा है।

इसी सत्र से सीएसवीटीयू बीबीए और बीसीए कोर्स को भी संबद्धता देगा।  शुरुआत दो निजी कॉलेजों से हो गई है। आगे यह संख्या और भी बढ़ेगी।  पहली बार सीएसवीटीयू बीबीए और बीसीए की परीक्षाएं भी कराएगा।
अंकित अरोरा, कुलसचिव, सीएसवीटीयू