अच्छी खबर: कोविड वायरस की जंग में बांस की खेती कर घर बैठे मुनाफा कमा सकते है किसान

– इस वर्षा ऋतु खेत में लगाए हरा सोना

भिलाई@CG Prime News. कोरोना वायरस की जंग में सरकार का फोकस किसानों की आमदनी बढ़ाने पर है। दुर्ग- बेमेतरा जिले के किसानों को खेतों, मेड़ों और बाड़ियों में रोपण कार्य के लिए दुर्ग वनमण्डल ई-रजिस्ट्रेशन के माध्यम से गुणवत्ता युक्त बांस की प्रजातियां मुफ्त में मुहैय्या करने फैसला लिया। सरकार की अनुशंसा पर हरियाली प्रसार एवं बांस विकास योजना संचालित की जा रही है, जिसका उद्देश्य बांस की खेती को बढ़ावा देने के साथ किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार लाने और पर्यावरण संरक्षण में योगदान सुनिश्चित कराने की है।

क्यू कहा जाता है बांस को हरा सोना

बांस विभिन्न प्रकार के उपयोगों की वजह से बहुमूल्य है इसलिए इसे हरे सोने का दर्जा दिया गया है। यह अत्यधिक नवीकरणीय, सतत और विकसित करने में आसान है। बांस बहुत तेजी से बढ़ने वाले और विभिन्न कार्यों में उपयोग होने वाले प्राकृतिक संसाधनों में से एक है जिससे यह विश्व की अर्थव्यवस्था में अधिक मूल्यवान होता जा रहा है।

30 अप्रेल तक करा सकते है रजिस्ट्रेशन

दुर्ग डीएफओ धमंशील गणवीर ने बताया कि इस योजना के अंतर्गत इच्छुक किसान 30 अप्रैल तक ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कर सकते है जिसके पश्चात उन्हें इस वर्ष अवश्यकता अनुसार बांस की प्रजातियों के पौधे रोपण के लिए वर्षा ऋतु में उपलब्ध कराए जाएंगे।
बांस को वृक्ष की परिभाषा से विमुक्त किया गया है, जिसके फलस्वरूप अब भविष्य में खेती में लगे बांस को काटने एवं परिवहन के लिए अनुमति की आवश्यकता नहीं होगी। योजना को सफल बनाने दुर्ग वनमंडलाधिकारी ने किसान समूह से अधिक से अधिक मात्रा में रजिस्ट्रेशन करने और खेतो में बांस रोपण करने की अपील की है।

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